कोरोनावायरस की वजह से जापान के तट पर कुछ दिनों से निगरानी में चल रहे क्रूज डायमंड प्रिसेज में भारतीय चालक दल के 160 और आठ भारतीय यात्री फंसे हुए हैं। इनमें से कुछ ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से उन्हें इस संकट से बचाने की मार्मिक अपील की है।एक निजी टीवी चैनल में चल रही वीडियो में दिखाया गया है कि चालक दल के सदस्यों में रसोइया का काम करने वाला व्यक्ति बिनय कुमार सरकार मुंह पर मास्क लगाए हुए है। वो हिंदी में पीएम मोदी और संयुक्त राष्ट्र को संबोधित करते हुए कह रहा है कि भारतीयों को अन्य लोगों से फौरन अलग किया जाए।




व्यक्ति कह रहा है कि उनमें से किसी की भी कोरोनावायरस को लेकर जांच नहीं की गई है। इर्द-गिर्द मास्क लगाए पांच भारतीय भी खड़े हैं। वो अपील कर रहा है कि कैसे भी करके जितना जल्दी हो सके, उन्हें बचाया जाए। अगर उन्हें कुछ हो जाता है तो क्या होगा। मैं भारत सरकार और पीएम मोदी जी से यह अनुरोध करना चाहता हूं कि कृपया हमें बाकी लोगों से अलग करवाएं और सुरक्षित घर वापसी करवाएं।
भारतीय दूतावास ने स्वीकार किया क्रू में कुछ भारतीय भी
टोक्यो में भारतीय दूतावास ने सोमवार को एक ट्वीट करके कहा कि इस बात की सूचनाएं हैं कि जहज पर भारतीय भी हैं। दूतावास ने कहा, कई क्रू और कुछ भारतीय यात्री इस क्रूज पर हैं और इन्हें कोरोनावायरस के संकट के चलते अलग थलग रखा गया है। ट्वीट में यह नहीं बताया गया है कि कुल भारतीयों की संख्या कितनी है।
जापान सरकार ने नहीं उतरने दिया क्रू को
जापान के योकोहामा बंदरगाह पर रोक कर रखे गए लग्जरी क्रू के यात्री और चालक दल के सदस्य पांच फरवरी से परेशान हैं। इस जहाज में काफी सारे लोगों के कोरोनावायरस की चपेट में आने की पुष्टि हुई। सोमवार को क्रू कप्तान के अनुसार जहाज में अब 137 लोग कोरोनावायरस की चपेट में आ गए हैं। इस जहाज में 3600 लोग सवार हैं।
ये जहाज बीस जनवरी को योकोहामा से चला था और 25 जनवरी को हांगकांग में एक यात्री इस जहाज से उतरा। दो फरवरी को जहाज को जानकारी मिली कि वह यात्री कोरोनावायरस से पीड़ित था। इसके बाद जहाज को तुरंत योकोहोमा वापस भेजा गया और पांच फरवरी से ये जहाज बंदरगाह पर अलग खड़ा हुआ है।
जापान स्वास्थ्य मंत्रालय जहाज पर मौजूद सभी लोगों की निगरानी कर रहा है। सभी को बचाव के लिए मास्क और अन्य उपकरण दिए गए हैं। अभी तक की जानकारी के मुताबिक ये जहाज 19 फरवरी तक बंदरगाह पर अलग खड़ा रहेगा।

