नई दिल्ली। कन्फेडरेशन ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) ने देशभर में चीनी वस्तुओं के बहिष्कार करने के लिए एक राष्टीय अभियान ‘भारतीय सामान‑हमारा अभिमान’ की शुरुआत फेस मास्क और चाय के गिलास के साथ बुधवार को की। कैट ने इस अभियान के तहत दिसंबर 2021 तक चीन में बने वस्तुओं के भारत में आयात को एक लाख करोड़ रुपये कम करने का लक्ष्य निर्धारित किया है।
वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए आयोजित प्रेस कांफ्रेंस में कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष बी सी भरतिया और राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीण खंडेलवाल ने इसकी शुरुआत किया। उन्होंने इसकी शुरुआत करते हुए राष्ट्रीय अभियान ‘भारतीय सामान‑हमारा अभियान’ का संदेश अंकित फेस मास्क और रेलवे कैटरिंग में इस्तेमाल होने वाले चाय के गिलास को जारी किया।
इस अभियान के बारे में बताते हुए कैट के राष्ट्रीय महामंत्री प्रवीण खंडेलवा ने बताया कि देशभर में बड़े पैमाने पर व्यापारी इस मास्क को पहन कर इस अभियान का प्रचार करेंगे। वहीँ, आगामी दिसंबर तक सभी राजधानी एवं शताब्दी ट्रेनों में लगभग 5 करोड़ ये गिलास कैटरिंग में वितरित किए जाएंगे। ताकि, देश के कोने-कोने तक कैट के इस अभियान को पहुंचाया जा सके।
कैट के इस अभियान की शुरुआत में रेलवे में कैटरिंग कंपनी आर के ग्रुप तथा संकल्प फाउंडेशन ने पहला साझेदार बनकर सहयोग किया है। इस अवसर पर बोलते हुए प्रवीण खंडेलवाल ने कहा कि कैट देशभर में बड़ी संख्यां में इस अभियान के लिए अपने साथ अनेक संगठनों तथा अन्य संस्थानों को जोड़ेगा।
खंडेलवाल ने कहा कि कैट का यह अभियान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘लोकल पर वोकल’ और आत्मनिर्भर भारत अभियान के आवाहन को सफल बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। इस अभियान के प्रथम चरण में कैट ने ऐसी 3 हजार वस्तुओं की सूची बनाई है, जो मौजूदा समय में चीन से आयात होती है। कैट इस अभियान के अंतर्गत देशभर में व्यापारियों एवं लोगों को जागरूक करेगा कि चीनी वस्तुओं की बजाय भारतीय उत्पाद ही बेचे और ख़रीदे जाएं।
इस प्रेस कांफ्रेंस में देश के सभी राज्यों के प्रमुख व्यापारी नेता भी शामिल थे। खंडेलवाल ने बताया कि चीन से भारत में मौटे तौर पर चार प्रकार की वस्तुएं आयात होती हैं, जिनमें तैयार माल यानी फिनिश्ड गुड्स, कच्चा माल अर्थात रॉ मैटेरियल, स्पेयर पार्ट्स तथा तकनीकी उत्पाद शामिल हैं। कैट महामंत्री ने बताया कि पहले चरण में चीन से आयात होने वाले तैयार माल की वस्तुओं का बहिष्कार करने का निर्णय लिया गया है।
खंडेलवाल ने बताया कि देश में कोविड‑19 की महामारी और मौजूदा परिस्थितियों को देखते हुए ये अभियान फिलहाल वीडियो कांफ्रेंसिंग तथा सोशल मीडिया जिसमें विशेषकर ट्विटर, फेसबुक, व्हाट्सअप पर चलाया जाएगा। देशभर में 40 हजार से ज्यादा व्यापारी संगठन और उनसे जुड़े 7 करोड़ व्यापारी इस अभियान में भाग लेंगे। इस अभियान के तहत व्यापारियों एवं ग्राहकों के बीच एक व्यापक जन जागरण अभियान चलाया जाएगा। उन्होंने कहा कि देश के 130 करोड़ लोगों का पहला संपर्क किसी भी व्यापारी की दुकान से होता है। इस लिहाज से व्यापारी भी अपनी दूकान पर आने वाले ग्राहकों को चीनी वस्तुओं के बहिष्कार का संदेश देंगे।